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Kashmir का Kanihama Village: अपनी पुरानी परंपरा से पूरा गांव बुनता है कानी शॉल
Oct 19, 2024
कश्मीर के बडगाम जिले के छोटे से गांव कानी हामा में सदियों पुरानी कानी शॉल बुनाई की परंपरा आज भी जीवित है। यहां के कारीगर अपने पुरखों से सीखी गई इस कला को आज भी बखूबी निभा रहे हैं। कानी शॉल अपनी बारीकी, जटिलता और खूबसूरत डिज़ाइनों के लिए जानी जाती है, जिसे कारीगर लकड़ी की छोटी छड़ियों और ‘तालीम’ नामक डिज़ाइन कोड की मदद से बुनते हैं। यह प्रक्रिया महीनों से लेकर सालों तक चल सकती है, जिससे कानी शॉल की क़ीमत और बढ़ जाती है। इस वीडियो में हम कानी शॉल के इतिहास, बुनाई प्रक्रिया, और इस शिल्प से जुड़े कुछ प्रमुख कारीगरों की कहानी बताएंगे, जिनमें शबीर अहमद, तारीक अहमद, बशीर अहमद गनी और उनकी पत्नी जबीना बानो शामिल हैं। इन शॉलों को ‘शॉलों का राजा’ कहा जाता है और ये न केवल कश्मीर की सांस्कृतिक धरोहर हैं, बल्कि बेजोड़ कारीगरी के उदाहरण भी हैं।